संजय सोनी की रिपोर्ट
अलीगढ़ । देहदान कर्तव्य संस्था ने डॉ एस के गौड़ की अध्यक्षता में संस्था के अतरौली में पहले नेत्रदानी सदस्य नीरा गौड़ के परिजनों को तेरहवीं कार्यक्रम पर सम्मानित किया । पारिवारिक सदस्यों एवम विशाल जन समूह को सम्बोधित करते हुए डॉ एस के गौड़ ने कहा कि स्व o नीरा गौड़ ने संस्था की सदस्यता लगभग 02 माह पूर्व ग्रहण की थी।
देहदान कर्तव्य संस्था के सदस्य भुवनेश वार्ष्णेय आधुनिक के अनुसार नीरा गौड़ जी का निधन भडूच (गुजरात) में अपने छोटे पुत्र दीपू के पास हुआ। देहदान कर्तव्य संस्था के सहयोग से अतरौली निवासिनी नीरा गौड़ जी का नेत्रदान सौहार्दपूर्ण वातावरण में उनकी अन्तिम इच्छा का सम्मान करते हुए भरुच में कराया गया । यह अतरौली में पहला कदम है वहाँ की संस्था द्वारा प्रशस्ति पत्र तेरहवीं कार्यक्रम में उनके ज्येष्ठ पुत्र अनिल गौड़ को भेंट किया गया।
इस मानवीय कार्य में डॉ कुलवंत गौड़ वह प्रफुल सिरोय का विशेष सराहनीय योगदान रहा। इस अवसर पर डॉ एस के गौड़ द्वारा अनेकों पारिवारिक सदस्यों का आह्वान करते हुए कहा कि नेत्रदान से दो लोगों के अन्धकारमय जीवन में रोशनी भर गईं जबकि अपना व्यक्तिगत कुछ भी नुकसान नहीं हुआ। नीरा गौड़ आज भी दान लेने वालों के अदृश्य रूप में जीवित हैँ।
उनकी ज्येष्ठ पुत्री रेखा शर्मा माता के पद चिन्हों पर चल तुरन्त नेत्रदान हेतु संकल्पित हो गई। उनके ज्येष्ठ पुत्र अनिल गौड़ माँ के साथ ही पहले से संकल्पित हो चुके हैं। इस अवसर पर डॉ आर एस गौड़, खेम करन शर्मा, हिमा कौशिक, राजीव कौशिक, भुवनेश वार्ष्णेय , अनिल गौड़, अतुल अग्रवाल, दिनेश, रमा गौड़, गोविंद, अनुपम, राम कुमार गौड़ आदि सहयोगी बने।