नीरज जैन की रिपोर्ट
गुरुग्राम । हरियाणा में फैमिली आईडी (पीपीपी) में दर्ज डेटा के आधार पर पात्र लोगों की घर बैठे पेंशन बनना शुरू हो गई है। कैथल जिले में अब अविवाहित व विधुरों (जिनकी पत्नी की मृत्यू हो चुकी हो) को भी पेंशन भत्ते का लाभ मिलेगा। पहले चरण में जिले के 688 अवविवाहित व 187 विधूरों को चिन्हित किया गया है। जिनको फरवरी महीने से प्रति माह 3 हजार रुपए मिलेंगे। अविवाहित पेंशन पात्रता के लिए उम्र 45 प्लस होनी चाहिए और सालाना इनकम 1.80 लाख रुपए होनी चाहिए।
वहीं विधुर के लिए उम्र 40 प्लस होनी चाहिए और सालाना इनकम 3 लाख रुपए तक होनी चाहिए। पिछले 6 महीने में पीपीपी डेटा के अनुसार 9445 लोगों की बुढ़ापा पेंशन बन चुकी है और अभी भी 2147 प्रोसेस में है। 175 दिव्यांगों की पीपीपी डेटा के अनुसार पेंशन बनी है 56 लोगों की प्रोसेस में है।
अधिकारियों का कहना है कि यदि किसी की उम्र पात्रता के लिए पूरी हो चुकी है तो वह सीएससी सेंटर पर जाकर अपनी फैमिली आईडी में उम्र वेरिफाई कराए। यदि फिर भी दिक्कत है तो अकाउंट नंबर वेरिफाई कराए। इससे सभी पात्रों को घर बैठे ही सरकार की योजना का लाभ मिलेगा।
ये होती है ऑनलाइन तरीके से पेंशन बनने की प्रक्रिया जिला समाज कल्याण अधिकारी सत्यवान ढिलौड ने बताया हरियाणा की मनोहर सरकार पारदर्शिता और भ्रष्टाचार मुक्त सिस्टम से सरकार के द्वारा चलाई जा रही जनकल्याणकारी योजनाओं को लाभार्थियों तक पहुंचाने का काम कर रही है। जिला समाज कल्याण अधिकारी ने बताया कि फैमिली आईडी में दर्ज परिवार के सभी सदस्यों का डेटा सरकार के पास है।
क्रीड विभाग समय समय पर फैमिली आईडी के डेटा को फिल्टर करता रहता है। इसमें से जिसकी उम्र 60 साल पूरी हो जाती है तो संबंधित व्यक्ति के पास फोन कॉल की जाएगी। जिसमें उसके डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन के लिए क्रीड विभाग की तरफ से गांव का कोई टीचर या फिर अन्य व्यक्ति वेरिफाई करेगा। इसके बाद संबंधित व्यक्ति का डेटा जिला समाज कल्याण विभाग के पास आएगा।
विभाग का एक कर्मचारी व्यक्ति के घर जाकर उससे पूछेगा कि क्या वह पेंशन का लाभ लेना चाहते हैं। यदि हां तो उससे एक सहमति पत्र भरवाया जाएगा। इसके साथ ही मौके की फोटो प्रो- एक्टिव ऐप में सबमिट की जाएगी। इसके बाद पूरा डेटा जिला समाज कल्याण विभाग अधिकारी के पोर्टल पर आएगा और यहां से एक क्लिक होते ही पेंशन शुरू हो जाएगी।
पिछले 6 महीने में पीपीपी डेटा से 10 हजार से अधिक लोगों की पेंशन बन चुकी है। साल 2023 के जुलाई महीने से अब तक जिले में बुढ़ापा, दिव्यांग व विधुर व अविवाहित की 10 हजार से अधिक पेंशन बनी हैं। इसमें सबसे ज्यादा बुढ़ापा पेंशन हैं। इस सीजन में 9445 बुढ़ापा पेंशन बनी और अभी भी 2147 प्रोसेस में है।
वहीं 175 दिव्यांगों की पीपीपी डेटा के अनुसार पेंशन बनी है और 56 की प्रोसेस में चल रही है। साथ ही 688 अवविवाहित व 187 विधूरों की पेंशन ऑनलाइन बनी है। जिले में हर महीने पेंशन के रूप में 51 करोड़ 98 लाख 82 हजार रुपए दिए जाएंगे। एक जनवरी से सम्मान भत्तों में हुई बढ़ोतरी से सरकार के राजस्व पर अच्छा खासा जोर पड़ेगा।
क्योंकि जिले में अलग- अलग तरीके की पेंशन लेने वाले 1 लाख 77 हजार 444 पात्र हैं। जिनमें से बुढ़ापा, विधुर, विधवा, अविवाहित, बौने, दिव्यांग, लाडली स्कीम के लाभार्थियों को हर महीने 3 हजार रुपए मिलेंगें। वहीं निराश्रित बच्चों को 2100 रुपए और स्कूल न जाने वाले दिव्यांग बच्चों को 2150 रुपए प्रतिमाह मिलेंगे। जिससे हर महीने सरकार पेंशन के रूप में जिलेभर के पात्रों के लिए 51 करोड़ 98 लाख 82 हजार रुपए खर्च करेगी।
क्रीड विभाग पोर्टल के जरिए पूरा डेटा उठाकर लाभर्थियों को चिन्हित कर रहा है। अच्छी बात ये है कि बिना आवेदन के ही विभाग लोगों को खुद फोन कर रहा है कि आपकी पेंशन शुरू हो गई है। लोगों से अपील है कि पीपीपी में डेटा वेरिफाई व अपडेट रखें।